The Basic Principles Of sidh kunjika



नमस्ते रुद्ररूपिण्यै नमस्ते मधुमर्दिनि ।

This Mantra is published in the form of the dialogue amongst a Expert and his disciple. This Mantra is known being The true secret into a tranquil point out of mind. 

नवरात्रि में देवी को प्रसन्न करने के लिए इसका पाठ करें. जानते हैं सिद्ध कुंजिका पाठ की विधि और लाभ.

देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति चतुर्थोऽध्यायः

हेल्थरिलेशनशिपट्रैवलफ़ूडपैरेंटिंगफैशनहोम टिप्स

ऐं-कारी सृष्टि-रूपायै, ह्रींकारी प्रतिपालिका।

देवी वैभवाश्चर्य अष्टोत्तर शत नामावलि

श्री सरस्वती अष्टोत्तर शत नाम स्तोत्रम्

इस पाठ के करने से अष्टसिद्धियां प्राप्त होती हैं.

श्री वासवी कन्यका परमेश्वरी अष्टोत्तर शत नामावलि

नमस्ते रुद्ररूपिण्यै नमस्ते मधुमर्दिनि।

श्री दुर्गा अष्टोत्तर शत नाम स्तोत्रम्

This is prayer in the Kunjika and that is the reason for awakening. Oh Parvathi, preserve this secured and saved secret from those who are not devotees.  

भ्रां भ्रीं check here भ्रूं भैरवी भद्रे भवान्यै ते नमो नमः ॥ ११ ॥

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